शतकत्रयम् — 1.29
Original
Segmented
क्षुध्-क्षामः ऽपि जरा-कृशः ऽपि शिथिल-प्राणः ऽपि कष्टाम् दशाम् आपन्नः ऽपि विपन्न-दीधितिः इति प्राणेषु नश्यत्स्व् अपि मत्त-इभ-इन्द्र-विभिद्-कुम्भ-पिशित-ग्रास-एक-बद्ध-स्पृहः किम् जीर्णम् तृणम् अत्ति मान-महताम् अग्रेसरः केसरी
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
क्षुध् | क्षुध् | pos=n,comp=y |
क्षामः | क्षाम | pos=a,g=m,c=1,n=s |
ऽपि | अपि | pos=i |
जरा | जरा | pos=n,comp=y |
कृशः | कृश | pos=a,g=m,c=1,n=s |
ऽपि | अपि | pos=i |
शिथिल | शिथिल | pos=a,comp=y |
प्राणः | प्राण | pos=n,g=m,c=1,n=s |
ऽपि | अपि | pos=i |
कष्टाम् | कष्ट | pos=a,g=f,c=2,n=s |
दशाम् | दशा | pos=n,g=f,c=2,n=s |
आपन्नः | आपद् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
ऽपि | अपि | pos=i |
विपन्न | विपद् | pos=va,comp=y,f=part |
दीधितिः | दीधिति | pos=n,g=m,c=1,n=s |
इति | इति | pos=i |
प्राणेषु | प्राण | pos=n,g=m,c=7,n=p |
नश्यत्स्व् | नश् | pos=va,g=m,c=7,n=p,f=part |
अपि | अपि | pos=i |
मत्त | मद् | pos=va,comp=y,f=part |
इभ | इभ | pos=n,comp=y |
इन्द्र | इन्द्र | pos=n,comp=y |
विभिद् | विभिद् | pos=va,comp=y,f=part |
कुम्भ | कुम्भ | pos=n,comp=y |
पिशित | पिशित | pos=n,comp=y |
ग्रास | ग्रास | pos=n,comp=y |
एक | एक | pos=n,comp=y |
बद्ध | बन्ध् | pos=va,comp=y,f=part |
स्पृहः | स्पृहा | pos=n,g=m,c=1,n=s |
किम् | किम् | pos=i |
जीर्णम् | जृ | pos=va,g=n,c=2,n=s,f=part |
तृणम् | तृण | pos=n,g=n,c=2,n=s |
अत्ति | अद् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
मान | मान | pos=n,comp=y |
महताम् | महत् | pos=a,g=m,c=6,n=p |
अग्रेसरः | अग्रेसर | pos=a,g=m,c=1,n=s |
केसरी | केसरिन् | pos=n,g=m,c=1,n=s |