सौन्दरनन्दम् — 9.51
Original
Segmented
नन्दस्य भावम् अवगम्य ततः स भिक्षुः पारिप्लवम् गृह-सुख-अभिमुखम् न धर्मे सत्त्व-आशय-अनुशय-भाव-परीक्षकाय बुद्धाय तत्त्व-विदुषे कथयांचकार
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
नन्दस्य | नन्द | pos=n,g=m,c=6,n=s |
भावम् | भाव | pos=n,g=m,c=2,n=s |
अवगम्य | अवगम् | pos=vi |
ततः | ततस् | pos=i |
स | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
भिक्षुः | भिक्षु | pos=n,g=m,c=1,n=s |
पारिप्लवम् | पारिप्लव | pos=a,g=m,c=2,n=s |
गृह | गृह | pos=n,comp=y |
सुख | सुख | pos=n,comp=y |
अभिमुखम् | अभिमुख | pos=a,g=m,c=2,n=s |
न | न | pos=i |
धर्मे | धर्म | pos=n,g=m,c=7,n=s |
सत्त्व | सत्त्व | pos=n,comp=y |
आशय | आशय | pos=n,comp=y |
अनुशय | अनुशय | pos=n,comp=y |
भाव | भाव | pos=n,comp=y |
परीक्षकाय | परीक्षक | pos=a,g=m,c=4,n=s |
बुद्धाय | बुद्ध | pos=n,g=m,c=4,n=s |
तत्त्व | तत्त्व | pos=n,comp=y |
विदुषे | विद् | pos=va,g=m,c=4,n=s,f=part |
कथयांचकार | कथय् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |