रामायणम् — 7.7.46
Original
Segmented
संछाद्यमाना हरि-बाण-जालैः स्व-बाण-जालानि समुत्सृजन्तः धावन्ति नक्तंचर-काल-मेघाः वायु-प्रणुन्नाः इव काल-मेघाः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
संछाद्यमाना | संछादय् | pos=va,g=m,c=1,n=p,f=part |
हरि | हरि | pos=n,comp=y |
बाण | बाण | pos=n,comp=y |
जालैः | जाल | pos=n,g=n,c=3,n=p |
स्व | स्व | pos=a,comp=y |
बाण | बाण | pos=n,comp=y |
जालानि | जाल | pos=n,g=n,c=2,n=p |
समुत्सृजन्तः | समुत्सृज् | pos=va,g=m,c=1,n=p,f=part |
धावन्ति | धाव् | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
नक्तंचर | नक्तंचर | pos=n,comp=y |
काल | काल | pos=a,comp=y |
मेघाः | मेघ | pos=n,g=m,c=1,n=p |
वायु | वायु | pos=n,comp=y |
प्रणुन्नाः | प्रणुद् | pos=va,g=m,c=1,n=p,f=part |
इव | इव | pos=i |
काल | काल | pos=a,comp=y |
मेघाः | मेघ | pos=n,g=m,c=1,n=p |