रामायणम् — 7.47.12
Original
Segmented
यत् त्वम् पौर-जनम् राजन् धर्मेण समवाप्नुयाः अहम् तु न अनुशोचामि स्व-शरीरम् नर-ऋषभ यथा अपवादम् पौराणाम् तथा एव रघुनन्दन
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
यत् | यत् | pos=i |
त्वम् | त्वद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
पौर | पौर | pos=n,comp=y |
जनम् | जन | pos=n,g=m,c=2,n=s |
राजन् | राजन् | pos=n,g=m,c=8,n=s |
धर्मेण | धर्म | pos=n,g=m,c=3,n=s |
समवाप्नुयाः | समवाप् | pos=v,p=2,n=s,l=vidhilin |
अहम् | मद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
तु | तु | pos=i |
न | न | pos=i |
अनुशोचामि | अनुशुच् | pos=v,p=1,n=s,l=lat |
स्व | स्व | pos=a,comp=y |
शरीरम् | शरीर | pos=n,g=n,c=2,n=s |
नर | नर | pos=n,comp=y |
ऋषभ | ऋषभ | pos=n,g=m,c=8,n=s |
यथा | यथा | pos=i |
अपवादम् | अपवाद | pos=n,g=m,c=2,n=s |
पौराणाम् | पौर | pos=n,g=m,c=6,n=p |
तथा | तथा | pos=i |
एव | एव | pos=i |
रघुनन्दन | रघुनन्दन | pos=n,g=m,c=8,n=s |