Original

विवृत्तनयनं क्रोधात्सफेनरुधिराप्लुतम् ।ददृशुस्ते विरूपाक्षं विरूपाक्षतरं कृतम् ॥ ३० ॥

Segmented

विवृत्त-नयनम् क्रोधात् स फेन-रुधिर-आप्लुतम् ददृशुः ते विरूपाक्षम् विरूपाक्षतरम् कृतम्

Analysis

Word Lemma Parse
विवृत्त विवृत् pos=va,comp=y,f=part
नयनम् नयन pos=n,g=m,c=2,n=s
क्रोधात् क्रोध pos=n,g=m,c=5,n=s
pos=i
फेन फेन pos=n,comp=y
रुधिर रुधिर pos=n,comp=y
आप्लुतम् आप्लु pos=va,g=m,c=2,n=s,f=part
ददृशुः दृश् pos=v,p=3,n=p,l=lit
ते तद् pos=n,g=m,c=1,n=p
विरूपाक्षम् विरूपाक्ष pos=n,g=m,c=2,n=s
विरूपाक्षतरम् विरूपाक्षतर pos=a,g=m,c=2,n=s
कृतम् कृ pos=va,g=m,c=2,n=s,f=part