रामायणम् — 6.70.14
Original
Segmented
शुभे वर्त्मनि तिष्ठन्तम् त्वाम् आर्य-विजित-इन्द्रियम् अनर्थेभ्यो न शक्नोति त्रातुम् धर्मो निरर्थकः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
शुभे | शुभ | pos=a,g=n,c=7,n=s |
वर्त्मनि | वर्त्मन् | pos=n,g=n,c=7,n=s |
तिष्ठन्तम् | स्था | pos=va,g=m,c=2,n=s,f=part |
त्वाम् | त्वद् | pos=n,g=,c=2,n=s |
आर्य | आर्य | pos=a,comp=y |
विजित | विजि | pos=va,comp=y,f=part |
इन्द्रियम् | इन्द्रिय | pos=n,g=m,c=2,n=s |
अनर्थेभ्यो | अनर्थ | pos=n,g=m,c=5,n=p |
न | न | pos=i |
शक्नोति | शक् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
त्रातुम् | त्रा | pos=vi |
धर्मो | धर्म | pos=n,g=m,c=1,n=s |
निरर्थकः | निरर्थक | pos=a,g=m,c=1,n=s |