रामायणम् — 6.19.33
Original
Segmented
एवम् कोटि-सहस्रेण शङ्कूनाम् च शतेन च सुग्रीवो वानर-इन्द्रः त्वा युद्ध-अर्थम् अभिवर्तते
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
एवम् | एवम् | pos=i |
कोटि | कोटि | pos=n,comp=y |
सहस्रेण | सहस्र | pos=n,g=n,c=3,n=s |
शङ्कूनाम् | शङ्कु | pos=n,g=m,c=6,n=p |
च | च | pos=i |
शतेन | शत | pos=n,g=n,c=3,n=s |
च | च | pos=i |
सुग्रीवो | सुग्रीव | pos=n,g=m,c=1,n=s |
वानर | वानर | pos=n,comp=y |
इन्द्रः | इन्द्र | pos=n,g=m,c=1,n=s |
त्वा | त्वद् | pos=n,g=,c=2,n=s |
युद्ध | युद्ध | pos=n,comp=y |
अर्थम् | अर्थ | pos=n,g=m,c=2,n=s |
अभिवर्तते | अभिवृत् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |