Original

सिद्धार्था खलु कौसल्या या त्वां राम गृहं गतम् ।वनान्निवृत्तं संहृष्टा द्रक्ष्यते शत्रुसूदन ॥ १८ ॥

Segmented

सिद्धार्था खलु कौसल्या या त्वाम् राम गृहम् गतम् वनात् निवृत्तम् संहृष्टा द्रक्ष्यते शत्रु-सूदन

Analysis

Word Lemma Parse
सिद्धार्था सिद्धार्थ pos=a,g=f,c=1,n=s
खलु खलु pos=i
कौसल्या कौसल्या pos=n,g=f,c=1,n=s
या यद् pos=n,g=f,c=1,n=s
त्वाम् त्वद् pos=n,g=,c=2,n=s
राम राम pos=n,g=m,c=8,n=s
गृहम् गृह pos=n,g=n,c=2,n=s
गतम् गम् pos=va,g=m,c=2,n=s,f=part
वनात् वन pos=n,g=n,c=5,n=s
निवृत्तम् निवृत् pos=va,g=m,c=2,n=s,f=part
संहृष्टा संहृष् pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part
द्रक्ष्यते दृश् pos=v,p=3,n=s,l=lrt
शत्रु शत्रु pos=n,comp=y
सूदन सूदन pos=a,g=m,c=8,n=s