Original

काचिद्वीणां परिष्वज्य प्रसुप्ता संप्रकाशते ।महानदीप्रकीर्णेव नलिनी पोतमाश्रिता ॥ ३४ ॥

Segmented

काचिद् वीणाम् परिष्वज्य प्रसुप्ता संप्रकाशते महा-नदी-प्रकीर्णा इव नलिनी पोतम् आश्रिता

Analysis

Word Lemma Parse
काचिद् कश्चित् pos=n,g=f,c=1,n=s
वीणाम् वीणा pos=n,g=f,c=2,n=s
परिष्वज्य परिष्वज् pos=vi
प्रसुप्ता प्रस्वप् pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part
संप्रकाशते सम्प्रकास् pos=v,p=3,n=s,l=lat
महा महत् pos=a,comp=y
नदी नदी pos=n,comp=y
प्रकीर्णा प्रक्￞ pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part
इव इव pos=i
नलिनी नलिनी pos=n,g=f,c=1,n=s
पोतम् पोत pos=n,g=n,c=2,n=s
आश्रिता आश्रि pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part