रामायणम् — 5.50.9
Original
Segmented
न धर्म-वादे न च लोक-वृत्ते न शास्त्र-बुद्धि-ग्रहणेषु वा अपि विद्येत कश्चित् तव वीर तुल्यस् त्वम् हि उत्तमः सर्व-सुर-असुराणाम्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
न | न | pos=i |
धर्म | धर्म | pos=n,comp=y |
वादे | वाद | pos=n,g=m,c=7,n=s |
न | न | pos=i |
च | च | pos=i |
लोक | लोक | pos=n,comp=y |
वृत्ते | वृत्त | pos=n,g=n,c=7,n=s |
न | न | pos=i |
शास्त्र | शास्त्र | pos=n,comp=y |
बुद्धि | बुद्धि | pos=n,comp=y |
ग्रहणेषु | ग्रहण | pos=n,g=n,c=7,n=p |
वा | वा | pos=i |
अपि | अपि | pos=i |
विद्येत | विद् | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
कश्चित् | कश्चित् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
तव | त्वद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
वीर | वीर | pos=n,g=m,c=8,n=s |
तुल्यस् | तुल्य | pos=a,g=m,c=1,n=s |
त्वम् | त्व | pos=n,g=n,c=1,n=s |
हि | हि | pos=i |
उत्तमः | उत्तम | pos=a,g=m,c=1,n=s |
सर्व | सर्व | pos=n,comp=y |
सुर | सुर | pos=n,comp=y |
असुराणाम् | असुर | pos=n,g=m,c=6,n=p |