Original

जानामि त्वां महावीर्यं महोत्साहं महाबलम् ।अपारपारमक्षोभ्यं गाम्भीर्यात्सागरोपमम् ।भर्तारं ससमुद्राया धरण्या वासवोपमम् ॥ ३५ ॥

Segmented

जानामि त्वाम् महा-वीर्यम् महा-उत्साहम् महा-बलम् अपार-पारम् अक्षोभ्यम् गाम्भीर्यात् सागर-उपमम् भर्तारम् स समुद्रायाः धरण्या वासव-उपमम्

Analysis

Word Lemma Parse
जानामि ज्ञा pos=v,p=1,n=s,l=lat
त्वाम् त्वद् pos=n,g=,c=2,n=s
महा महत् pos=a,comp=y
वीर्यम् वीर्य pos=n,g=m,c=2,n=s
महा महत् pos=a,comp=y
उत्साहम् उत्साह pos=n,g=m,c=2,n=s
महा महत् pos=a,comp=y
बलम् बल pos=n,g=m,c=2,n=s
अपार अपार pos=n,comp=y
पारम् पार pos=n,g=m,c=2,n=s
अक्षोभ्यम् अक्षोभ्य pos=a,g=m,c=2,n=s
गाम्भीर्यात् गाम्भीर्य pos=n,g=n,c=5,n=s
सागर सागर pos=n,comp=y
उपमम् उपम pos=a,g=m,c=2,n=s
भर्तारम् भर्तृ pos=n,g=m,c=2,n=s
pos=i
समुद्रायाः समुद्र pos=n,g=f,c=6,n=s
धरण्या धरणी pos=n,g=f,c=6,n=s
वासव वासव pos=n,comp=y
उपमम् उपम pos=a,g=m,c=2,n=s