रामायणम् — 4.8.4
Original
Segmented
सो ऽहम् सभाज्यो बन्धूनाम् सुहृदाम् च एव राघव यस्य अग्नि-साक्षिकम् मित्रम् लब्धम् राघव-वंश-जम्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
सो | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
ऽहम् | मद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
सभाज्यो | सभाज्य | pos=a,g=m,c=1,n=s |
बन्धूनाम् | बन्धु | pos=n,g=m,c=6,n=p |
सुहृदाम् | सुहृद् | pos=n,g=m,c=6,n=p |
च | च | pos=i |
एव | एव | pos=i |
राघव | राघव | pos=n,g=m,c=8,n=s |
यस्य | यद् | pos=n,g=m,c=6,n=s |
अग्नि | अग्नि | pos=n,comp=y |
साक्षिकम् | साक्षिक | pos=n,g=n,c=1,n=s |
मित्रम् | मित्र | pos=n,g=n,c=1,n=s |
लब्धम् | लभ् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
राघव | राघव | pos=n,comp=y |
वंश | वंश | pos=n,comp=y |
जम् | ज | pos=a,g=n,c=1,n=s |