रामायणम् — 4.41.17
Original
Segmented
कोट्यस् तत्र चतुर्विंशद् गन्धर्वाणाम् तरस्विनाम् वसन्त्य् अग्नि-निकाशानाम् घोराणाम् कामरूपिणाम्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
कोट्यस् | कोटि | pos=n,g=f,c=1,n=p |
तत्र | तत्र | pos=i |
चतुर्विंशद् | चतुर्विंशत् | pos=n,g=f,c=1,n=s |
गन्धर्वाणाम् | गन्धर्व | pos=n,g=m,c=6,n=p |
तरस्विनाम् | तरस्विन् | pos=a,g=m,c=6,n=p |
वसन्त्य् | वस् | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
अग्नि | अग्नि | pos=n,comp=y |
निकाशानाम् | निकाश | pos=n,g=m,c=6,n=p |
घोराणाम् | घोर | pos=a,g=m,c=6,n=p |
कामरूपिणाम् | कामरूपिन् | pos=a,g=m,c=6,n=p |