Original

प्रधर्षितायां वैदेह्यां बभूव सचराचरम् ।जगत्सर्वममर्यादं तमसान्धेन संवृतम् ॥ ९ ॥

Segmented

प्रधर्षितायाम् वैदेह्याम् बभूव सचराचरम् जगत् सर्वम् अमर्यादम् तमसा अन्धेन संवृतम्

Analysis

Word Lemma Parse
प्रधर्षितायाम् प्रधर्षय् pos=va,g=f,c=7,n=s,f=part
वैदेह्याम् वैदेही pos=n,g=f,c=7,n=s
बभूव भू pos=v,p=3,n=s,l=lit
सचराचरम् सचराचर pos=n,g=n,c=1,n=s
जगत् जगन्त् pos=n,g=n,c=1,n=s
सर्वम् सर्व pos=n,g=n,c=1,n=s
अमर्यादम् अमर्याद pos=a,g=n,c=1,n=s
तमसा तमस् pos=n,g=n,c=3,n=s
अन्धेन अन्ध pos=a,g=n,c=3,n=s
संवृतम् संवृ pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part