रामायणम् — 2.99.17
Original
Segmented
त्वम् राजा भव भरत स्वयम् नराणाम् वन्यानाम् अहम् अपि राज-राज् मृगाणाम् गच्छ त्वम् पुरवरम् अद्य सम्प्रहृष्टः संहृष्टस् त्व् अहम् अपि दण्डकान् प्रवेक्ष्ये
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
त्वम् | त्वद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
राजा | राजन् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
भव | भू | pos=v,p=2,n=s,l=lot |
भरत | भरत | pos=n,g=m,c=8,n=s |
स्वयम् | स्वयम् | pos=i |
नराणाम् | नर | pos=n,g=m,c=6,n=p |
वन्यानाम् | वन्य | pos=a,g=m,c=6,n=p |
अहम् | मद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
अपि | अपि | pos=i |
राज | राजन् | pos=n,comp=y |
राज् | राज् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
मृगाणाम् | मृग | pos=n,g=m,c=6,n=p |
गच्छ | गम् | pos=v,p=2,n=s,l=lot |
त्वम् | त्वद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
पुरवरम् | पुरवर | pos=n,g=n,c=2,n=s |
अद्य | अद्य | pos=i |
सम्प्रहृष्टः | सम्प्रहृष् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
संहृष्टस् | संहृष् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
त्व् | तु | pos=i |
अहम् | मद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
अपि | अपि | pos=i |
दण्डकान् | दण्डक | pos=n,g=m,c=2,n=p |
प्रवेक्ष्ये | प्रविश् | pos=v,p=1,n=s,l=lrt |