रामायणम् — 2.66.26
Original
Segmented
यो मे भ्राता पिता बन्धुः यस्य दासो ऽस्मि धीमतः तस्य माम् शीघ्रम् आख्याहि रामस्य अक्लिष्ट-कर्मणः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
यो | यद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
मे | मद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
भ्राता | भ्रातृ | pos=n,g=m,c=1,n=s |
पिता | पितृ | pos=n,g=m,c=1,n=s |
बन्धुः | बन्धु | pos=n,g=m,c=1,n=s |
यस्य | यद् | pos=n,g=m,c=6,n=s |
दासो | दास | pos=n,g=m,c=1,n=s |
ऽस्मि | अस् | pos=v,p=1,n=s,l=lat |
धीमतः | धीमत् | pos=a,g=m,c=6,n=s |
तस्य | तद् | pos=n,g=m,c=6,n=s |
माम् | मद् | pos=n,g=,c=2,n=s |
शीघ्रम् | शीघ्रम् | pos=i |
आख्याहि | आख्या | pos=v,p=2,n=s,l=lot |
रामस्य | राम | pos=n,g=m,c=6,n=s |
अक्लिष्ट | अक्लिष्ट | pos=a,comp=y |
कर्मणः | कर्मन् | pos=n,g=m,c=6,n=s |