रामायणम् — 1.1.45
Original
Segmented
कबन्धम् नाम रूपेण विकृतम् घोर-दर्शनम् तम् निहत्य महा-बाहुः ददाह स्वर्गतः च सः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
कबन्धम् | कबन्ध | pos=n,g=m,c=2,n=s |
नाम | नाम | pos=i |
रूपेण | रूप | pos=n,g=n,c=3,n=s |
विकृतम् | विकृ | pos=va,g=m,c=2,n=s,f=part |
घोर | घोर | pos=a,comp=y |
दर्शनम् | दर्शन | pos=n,g=m,c=2,n=s |
तम् | तद् | pos=n,g=m,c=2,n=s |
निहत्य | निहन् | pos=vi |
महा | महत् | pos=a,comp=y |
बाहुः | बाहु | pos=n,g=m,c=1,n=s |
ददाह | दह् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
स्वर्गतः | स्वर्गत | pos=a,g=m,c=1,n=s |
च | च | pos=i |
सः | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |