महाभारतम् — 9.53.8
Original
Segmented
सा तु प्राप्य परम् योगम् गता स्वर्गम् अनुत्तमम् भुक्त्वा आश्रमे ऽश्वमेधस्य फलम् फलवताम् शुभा गता स्वर्गम् महाभागा पूजिता नियमित-आत्मभिः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
सा | तद् | pos=n,g=f,c=1,n=s |
तु | तु | pos=i |
प्राप्य | प्राप् | pos=vi |
परम् | पर | pos=n,g=m,c=2,n=s |
योगम् | योग | pos=n,g=m,c=2,n=s |
गता | गम् | pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part |
स्वर्गम् | स्वर्ग | pos=n,g=m,c=2,n=s |
अनुत्तमम् | अनुत्तम | pos=a,g=m,c=2,n=s |
भुक्त्वा | भुज् | pos=vi |
आश्रमे | आश्रम | pos=n,g=m,c=7,n=s |
ऽश्वमेधस्य | अश्वमेध | pos=n,g=m,c=6,n=s |
फलम् | फल | pos=n,g=n,c=2,n=s |
फलवताम् | फलवत् | pos=a,g=m,c=6,n=p |
शुभा | शुभ | pos=a,g=f,c=1,n=s |
गता | गम् | pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part |
स्वर्गम् | स्वर्ग | pos=n,g=m,c=2,n=s |
महाभागा | महाभाग | pos=a,g=f,c=1,n=s |
पूजिता | पूजय् | pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part |
नियमित | नियम् | pos=va,comp=y,f=part |
आत्मभिः | आत्मन् | pos=n,g=m,c=3,n=p |