महाभारतम् — 8.66.15
Original
Segmented
हर-अम्बुप-आखण्डल-वित्तगोप्तृ पिनाक-पाश-अशनि-सायक-उत्तमैः सुर-उत्तमैः अप्य् अविषह्यम् अर्दितुम् प्रसह्य नागेन जहार यद् वृषः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
हर | हर | pos=n,comp=y |
अम्बुप | अम्बुप | pos=n,comp=y |
आखण्डल | आखण्डल | pos=n,comp=y |
वित्तगोप्तृ | वित्तगोप्तृ | pos=n,g=m,c=3,n=p |
पिनाक | पिनाक | pos=n,comp=y |
पाश | पाश | pos=n,comp=y |
अशनि | अशनि | pos=n,comp=y |
सायक | सायक | pos=n,comp=y |
उत्तमैः | उत्तम | pos=a,g=m,c=3,n=p |
सुर | सुर | pos=n,comp=y |
उत्तमैः | उत्तम | pos=a,g=m,c=3,n=p |
अप्य् | अपि | pos=i |
अविषह्यम् | अविषह्य | pos=a,g=n,c=2,n=s |
अर्दितुम् | ऋद् | pos=vi |
प्रसह्य | प्रसह् | pos=vi |
नागेन | नाग | pos=n,g=m,c=3,n=s |
जहार | हृ | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
यद् | यद् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
वृषः | वृष | pos=n,g=m,c=1,n=s |