Original

रुधिरेण समास्तीर्णा भाति भारत मेदिनी ।शक्रगोपगणाकीर्णा प्रावृषीव यथा धरा ॥ ८ ॥

Segmented

रुधिरेण समास्तीर्णा भाति भारत मेदिनी शक्रगोप-गण-आकीर्णा प्रावृषि इव यथा धरा

Analysis

Word Lemma Parse
रुधिरेण रुधिर pos=n,g=n,c=3,n=s
समास्तीर्णा समास्तृ pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part
भाति भा pos=v,p=3,n=s,l=lat
भारत भारत pos=n,g=m,c=8,n=s
मेदिनी मेदिनी pos=n,g=f,c=1,n=s
शक्रगोप शक्रगोप pos=n,comp=y
गण गण pos=n,comp=y
आकीर्णा आकृ pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part
प्रावृषि प्रावृष् pos=n,g=f,c=7,n=s
इव इव pos=i
यथा यथा pos=i
धरा धरा pos=n,g=f,c=1,n=s