महाभारतम् — 8.24.43
Original
Segmented
तान् स्वस्ति-वाक्येन अभ्यर्च्य समुत्थाप्य च शंकरः ब्रूत ब्रूत इति भगवान् स्मयमानो ऽभ्यभाषत
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
तान् | तद् | pos=n,g=m,c=2,n=p |
स्वस्ति | स्वस्ति | pos=n,comp=y |
वाक्येन | वाक्य | pos=n,g=n,c=3,n=s |
अभ्यर्च्य | अभ्यर्च् | pos=vi |
समुत्थाप्य | समुत्थापय् | pos=vi |
च | च | pos=i |
शंकरः | शंकर | pos=n,g=m,c=1,n=s |
ब्रूत | ब्रू | pos=v,p=2,n=p,l=lot |
ब्रूत | ब्रू | pos=v,p=2,n=p,l=lot |
इति | इति | pos=i |
भगवान् | भगवन्त् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
स्मयमानो | स्मि | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
ऽभ्यभाषत | अभिभाष् | pos=v,p=3,n=s,l=lan |