Original

चोदयाश्वान्हृषीकेश यत्र दुर्मर्षणः स्थितः ।एतद्भित्त्वा गजानीकं प्रवेक्ष्याम्यरिवाहिनीम् ॥ २९ ॥

Segmented

चोदय अश्वान् हृषीकेश यत्र दुर्मर्षणः स्थितः एतद् भित्त्वा गज-अनीकम् प्रवेक्ष्यामि अरि-वाहिनीम्

Analysis

Word Lemma Parse
चोदय चोदय् pos=v,p=2,n=s,l=lot
अश्वान् अश्व pos=n,g=m,c=2,n=p
हृषीकेश हृषीकेश pos=n,g=m,c=8,n=s
यत्र यत्र pos=i
दुर्मर्षणः दुर्मर्षण pos=n,g=m,c=1,n=s
स्थितः स्था pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part
एतद् एतद् pos=n,g=n,c=2,n=s
भित्त्वा भिद् pos=vi
गज गज pos=n,comp=y
अनीकम् अनीक pos=n,g=n,c=2,n=s
प्रवेक्ष्यामि प्रविश् pos=v,p=1,n=s,l=lrt
अरि अरि pos=n,comp=y
वाहिनीम् वाहिनी pos=n,g=f,c=2,n=s