Original

स विघातं पृषत्कानामङ्कुशेन समाचरन् ।गजेन पाण्डुपाञ्चालान्व्यधमत्पर्वतेश्वरः ॥ २६ ॥

Segmented

स विघातम् पृषत्कानाम् अङ्कुशेन समाचरन् गजेन पाण्डु-पाञ्चालान् व्यधमत् पर्वतेश्वरः

Analysis

Word Lemma Parse
तद् pos=n,g=m,c=1,n=s
विघातम् विघात pos=n,g=m,c=2,n=s
पृषत्कानाम् पृषत्क pos=n,g=m,c=6,n=p
अङ्कुशेन अङ्कुश pos=n,g=n,c=3,n=s
समाचरन् समाचर् pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part
गजेन गज pos=n,g=m,c=3,n=s
पाण्डु पाण्डु pos=n,comp=y
पाञ्चालान् पाञ्चाल pos=n,g=m,c=2,n=p
व्यधमत् विधम् pos=v,p=3,n=s,l=lan
पर्वतेश्वरः पर्वतेश्वर pos=n,g=m,c=1,n=s