Original

गदा क्षिप्ता तु समरे मद्रराजेन भारत ।व्योम संदीपयाना सा ससृजे पावकं बहु ॥ १९ ॥

Segmented

गदा क्षिप्ता तु समरे मद्र-राजेन भारत व्योम संदीपयाना सा ससृजे पावकम् बहु

Analysis

Word Lemma Parse
गदा गदा pos=n,g=f,c=1,n=s
क्षिप्ता क्षिप् pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part
तु तु pos=i
समरे समर pos=n,g=n,c=7,n=s
मद्र मद्र pos=n,comp=y
राजेन राज pos=n,g=m,c=3,n=s
भारत भारत pos=n,g=m,c=8,n=s
व्योम व्योमन् pos=n,g=n,c=2,n=s
संदीपयाना संदीपय् pos=va,g=f,c=1,n=s,f=part
सा तद् pos=n,g=f,c=1,n=s
ससृजे सृज् pos=v,p=3,n=s,l=lit
पावकम् पावक pos=n,g=m,c=2,n=s
बहु बहु pos=a,g=n,c=2,n=s