Original

किममन्यत दुर्धर्षः प्रविष्टे शत्रुतापने ।दुर्योधनश्च किं कृत्यं प्राप्तकालममन्यत ॥ ४ ॥

Segmented

किम् अमन्यत दुर्धर्षः प्रविष्टे शत्रु-तापने दुर्योधनः च किम् कृत्यम् प्राप्त-कालम् अमन्यत

Analysis

Word Lemma Parse
किम् pos=n,g=n,c=2,n=s
अमन्यत मन् pos=v,p=3,n=s,l=lan
दुर्धर्षः दुर्धर्ष pos=a,g=m,c=1,n=s
प्रविष्टे प्रविश् pos=va,g=m,c=7,n=s,f=part
शत्रु शत्रु pos=n,comp=y
तापने तापन pos=a,g=m,c=7,n=s
दुर्योधनः दुर्योधन pos=n,g=m,c=1,n=s
pos=i
किम् pos=n,g=n,c=2,n=s
कृत्यम् कृत्य pos=n,g=n,c=2,n=s
प्राप्त प्राप् pos=va,comp=y,f=part
कालम् काल pos=n,g=n,c=2,n=s
अमन्यत मन् pos=v,p=3,n=s,l=lan