Original

यो यो हि समरे पार्थं प्रत्युद्याति विशां पते ।स स वै विशिखैस्तीक्ष्णैः परलोकाय नीयते ॥ ३४ ॥

Segmented

यो यो हि समरे पार्थम् प्रत्युद्याति विशाम् पते स स वै विशिखैः तीक्ष्णैः पर-लोकाय नीयते

Analysis

Word Lemma Parse
यो यद् pos=n,g=m,c=1,n=s
यो यद् pos=n,g=m,c=1,n=s
हि हि pos=i
समरे समर pos=n,g=n,c=7,n=s
पार्थम् पार्थ pos=n,g=m,c=2,n=s
प्रत्युद्याति प्रत्युद्या pos=v,p=3,n=s,l=lat
विशाम् विश् pos=n,g=f,c=6,n=p
पते पति pos=n,g=m,c=8,n=s
तद् pos=n,g=m,c=1,n=s
तद् pos=n,g=m,c=1,n=s
वै वै pos=i
विशिखैः विशिख pos=n,g=m,c=3,n=p
तीक्ष्णैः तीक्ष्ण pos=a,g=m,c=3,n=p
पर पर pos=n,comp=y
लोकाय लोक pos=n,g=m,c=4,n=s
नीयते नी pos=v,p=3,n=s,l=lat