महाभारतम् — 4.61.24
Original
Segmented
तद् भीष्म-वाक्यम् हितम् ईक्ष्य सर्वे धनञ्जय-अग्निम् च विवर्धमानम् निवर्तनाय एव मनो निदध्युः दुर्योधनम् ते परिरक्षमाणाः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
तद् | तद् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
भीष्म | भीष्म | pos=n,comp=y |
वाक्यम् | वाक्य | pos=n,g=n,c=2,n=s |
हितम् | हित | pos=a,g=n,c=2,n=s |
ईक्ष्य | ईक्ष् | pos=vi |
सर्वे | सर्व | pos=n,g=m,c=1,n=p |
धनञ्जय | धनंजय | pos=n,comp=y |
अग्निम् | अग्नि | pos=n,g=m,c=2,n=s |
च | च | pos=i |
विवर्धमानम् | विवृध् | pos=va,g=m,c=2,n=s,f=part |
निवर्तनाय | निवर्तन | pos=n,g=n,c=4,n=s |
एव | एव | pos=i |
मनो | मनस् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
निदध्युः | निधा | pos=v,p=3,n=p,l=vidhilin |
दुर्योधनम् | दुर्योधन | pos=n,g=m,c=2,n=s |
ते | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=p |
परिरक्षमाणाः | परिरक्ष् | pos=va,g=m,c=1,n=p,f=part |