Original

बृहत्सेने पुनर्गच्छ वार्ष्णेयं नलशासनात् ।सूतमानय कल्याणि महत्कार्यमुपस्थितम् ॥ ९ ॥

Segmented

बृहत्सेने पुनः गच्छ वार्ष्णेयम् नल-शासनात् सूतम् आनय कल्याणि महत् कार्यम् उपस्थितम्

Analysis

Word Lemma Parse
बृहत्सेने बृहत्सेना pos=n,g=f,c=8,n=s
पुनः पुनर् pos=i
गच्छ गम् pos=v,p=2,n=s,l=lot
वार्ष्णेयम् वार्ष्णेय pos=n,g=m,c=2,n=s
नल नल pos=n,comp=y
शासनात् शासन pos=n,g=n,c=5,n=s
सूतम् सूत pos=n,g=m,c=2,n=s
आनय आनी pos=v,p=2,n=s,l=lot
कल्याणि कल्याण pos=a,g=f,c=8,n=s
महत् महत् pos=a,g=n,c=1,n=s
कार्यम् कार्य pos=n,g=n,c=1,n=s
उपस्थितम् उपस्था pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part