महाभारतम् — 3.268.1
Original
Segmented
मार्कण्डेय उवाच प्रभू-अन्न-उदके तस्मिन् बहु-मूल-फले वने सेनाम् निवेश्य काकुत्स्थो विधिवत् पर्यरक्षत
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
मार्कण्डेय | मार्कण्डेय | pos=n,g=m,c=1,n=s |
उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
प्रभू | प्रभू | pos=va,comp=y,f=part |
अन्न | अन्न | pos=n,comp=y |
उदके | उदक | pos=n,g=n,c=7,n=s |
तस्मिन् | तद् | pos=n,g=n,c=7,n=s |
बहु | बहु | pos=a,comp=y |
मूल | मूल | pos=n,comp=y |
फले | फल | pos=n,g=n,c=7,n=s |
वने | वन | pos=n,g=n,c=7,n=s |
सेनाम् | सेना | pos=n,g=f,c=2,n=s |
निवेश्य | निवेशय् | pos=vi |
काकुत्स्थो | काकुत्स्थ | pos=n,g=m,c=1,n=s |
विधिवत् | विधिवत् | pos=i |
पर्यरक्षत | परिरक्ष् | pos=v,p=3,n=s,l=lan |