महाभारतम् — 3.262.40
Original
Segmented
भर्त्सयित्वा तु रूक्षेण स्वरेण गत-चेतनाम् मूर्धजेषु निजग्राह खम् उपाचक्रमे ततः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
भर्त्सयित्वा | भर्त्सय् | pos=vi |
तु | तु | pos=i |
रूक्षेण | रूक्ष | pos=a,g=m,c=3,n=s |
स्वरेण | स्वर | pos=n,g=m,c=3,n=s |
गत | गम् | pos=va,comp=y,f=part |
चेतनाम् | चेतन | pos=n,g=f,c=2,n=s |
मूर्धजेषु | मूर्धज | pos=n,g=m,c=7,n=p |
निजग्राह | निग्रह् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
खम् | ख | pos=n,g=n,c=2,n=s |
उपाचक्रमे | उपाक्रम् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
ततः | ततस् | pos=i |