महाभारतम् — 3.221.28
Original
Segmented
रुद्र उवाच कार्येषु अहम् त्वया पुत्र संद्रष्टव्यः सदा एव हि दर्शनान् मम भक्त्या च श्रेयः परम् अवाप्स्यसि
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
रुद्र | रुद्र | pos=n,g=m,c=1,n=s |
उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
कार्येषु | कार्य | pos=n,g=n,c=7,n=p |
अहम् | मद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
त्वया | त्वद् | pos=n,g=,c=3,n=s |
पुत्र | पुत्र | pos=n,g=m,c=8,n=s |
संद्रष्टव्यः | संदृश् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=krtya |
सदा | सदा | pos=i |
एव | एव | pos=i |
हि | हि | pos=i |
दर्शनान् | दर्शन | pos=n,g=n,c=5,n=s |
मम | मद् | pos=n,g=,c=6,n=s |
भक्त्या | भक्ति | pos=n,g=f,c=3,n=s |
च | च | pos=i |
श्रेयः | श्रेयस् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
परम् | पर | pos=n,g=n,c=2,n=s |
अवाप्स्यसि | अवाप् | pos=v,p=2,n=s,l=lrt |