महाभारतम् — 3.180.37
Original
Segmented
असंशयम् केशव पाण्डवानाम् भवान् गतिस् त्वद्-शरणाः हि पार्थाः काल-उदये तत् च ततः च भूयः कर्ता भवान् कर्म न संशयो ऽस्ति
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
असंशयम् | असंशय | pos=n,g=m,c=2,n=s |
केशव | केशव | pos=n,g=m,c=8,n=s |
पाण्डवानाम् | पाण्डव | pos=n,g=m,c=6,n=p |
भवान् | भवत् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
गतिस् | गति | pos=n,g=f,c=1,n=s |
त्वद् | त्वद् | pos=n,comp=y |
शरणाः | शरण | pos=n,g=m,c=1,n=p |
हि | हि | pos=i |
पार्थाः | पार्थ | pos=n,g=m,c=1,n=p |
काल | काल | pos=n,comp=y |
उदये | उदय | pos=n,g=m,c=7,n=s |
तत् | तद् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
च | च | pos=i |
ततः | ततस् | pos=i |
च | च | pos=i |
भूयः | भूयस् | pos=i |
कर्ता | कृ | pos=v,p=3,n=s,l=lrt |
भवान् | भवत् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
कर्म | कर्मन् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
न | न | pos=i |
संशयो | संशय | pos=n,g=m,c=1,n=s |
ऽस्ति | अस् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |