महाभारतम् — 3.156.19
Original
Segmented
अस्य च उपरि शैलस्य श्रूयते पर्व-सन्धिषु भेरी-पणव-शङ्खानाम् मृदङ्गानाम् च निस्वनः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
अस्य | इदम् | pos=n,g=m,c=6,n=s |
च | च | pos=i |
उपरि | उपरि | pos=i |
शैलस्य | शैल | pos=n,g=m,c=6,n=s |
श्रूयते | श्रु | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
पर्व | पर्वन् | pos=n,comp=y |
सन्धिषु | संधि | pos=n,g=m,c=7,n=p |
भेरी | भेरी | pos=n,comp=y |
पणव | पणव | pos=n,comp=y |
शङ्खानाम् | शङ्ख | pos=n,g=m,c=6,n=p |
मृदङ्गानाम् | मृदङ्ग | pos=n,g=m,c=6,n=p |
च | च | pos=i |
निस्वनः | निस्वन | pos=n,g=m,c=1,n=s |