महाभारतम् — 3.134.28
Original
Segmented
श्लेष्मातकी क्षीण-वर्चाः शृणोषि उत अहो त्वाम् स्तुतयो मादयन्ति हस्ती इव त्वम् जनक वितुद्यमानो न मामिकाम् वाचम् इमाम् शृणोषि
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
श्लेष्मातकी | श्लेष्मातकिन् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
क्षीण | क्षि | pos=va,comp=y,f=part |
वर्चाः | वर्चस् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
शृणोषि | श्रु | pos=v,p=2,n=s,l=lat |
उत | उत | pos=i |
अहो | अहो | pos=i |
त्वाम् | त्वद् | pos=n,g=,c=2,n=s |
स्तुतयो | स्तुति | pos=n,g=f,c=1,n=p |
मादयन्ति | मादय् | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
हस्ती | हस्तिन् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
इव | इव | pos=i |
त्वम् | त्वद् | pos=n,g=,c=1,n=s |
जनक | जनक | pos=n,g=m,c=8,n=s |
वितुद्यमानो | वितुद् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
न | न | pos=i |
मामिकाम् | मामक | pos=a,g=f,c=2,n=s |
वाचम् | वाच् | pos=n,g=f,c=2,n=s |
इमाम् | इदम् | pos=n,g=f,c=2,n=s |
शृणोषि | श्रु | pos=v,p=2,n=s,l=lat |