महाभारतम् — 3.125.15
Original
Segmented
शृङ्गाणि त्रीणि पुण्याणि त्रीणि प्रस्रवणानि च सर्वाणि अनुपरिक्रामम् यथाकामम् उपस्पृश
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
शृङ्गाणि | शृङ्ग | pos=n,g=n,c=2,n=p |
त्रीणि | त्रि | pos=n,g=n,c=2,n=p |
पुण्याणि | पुण्य | pos=a,g=n,c=2,n=p |
त्रीणि | त्रि | pos=n,g=n,c=2,n=p |
प्रस्रवणानि | प्रस्रवण | pos=n,g=n,c=2,n=p |
च | च | pos=i |
सर्वाणि | सर्व | pos=n,g=n,c=2,n=p |
अनुपरिक्रामम् | अनुपरिक्रम् | pos=vi |
यथाकामम् | यथाकाम | pos=a,g=m,c=2,n=s |
उपस्पृश | उपस्पृश् | pos=v,p=2,n=s,l=lot |