Original

धृतराष्ट्र उवाच ।दुर्योधन कुतोमूलं भृशमार्तोऽसि पुत्रक ।श्रोतव्यश्चेन्मया सोऽर्थो ब्रूहि मे कुरुनन्दन ॥ ६ ॥

Segmented

धृतराष्ट्र उवाच दुर्योधन कुतोमूलम् भृशम् आर्तो ऽसि पुत्रक श्रोतव्यः चेद् मया सो ऽर्थो ब्रूहि मे कुरु-नन्दन

Analysis

Word Lemma Parse
धृतराष्ट्र धृतराष्ट्र pos=n,g=m,c=1,n=s
उवाच वच् pos=v,p=3,n=s,l=lit
दुर्योधन दुर्योधन pos=n,g=m,c=8,n=s
कुतोमूलम् कुतोमूल pos=a,g=m,c=2,n=s
भृशम् भृशम् pos=i
आर्तो आर्त pos=a,g=m,c=1,n=s
ऽसि अस् pos=v,p=2,n=s,l=lat
पुत्रक पुत्रक pos=n,g=m,c=8,n=s
श्रोतव्यः श्रु pos=va,g=m,c=1,n=s,f=krtya
चेद् चेद् pos=i
मया मद् pos=n,g=,c=3,n=s
सो तद् pos=n,g=m,c=1,n=s
ऽर्थो अर्थ pos=n,g=m,c=1,n=s
ब्रूहि ब्रू pos=v,p=2,n=s,l=lot
मे मद् pos=n,g=,c=6,n=s
कुरु कुरु pos=n,comp=y
नन्दन नन्दन pos=n,g=m,c=8,n=s