Original

पार्थ नेदं त्वया शक्यं पुरं जेतुं कथंचन ।उपावर्तस्व कल्याण पर्याप्तमिदमच्युत ॥ ९ ॥

Segmented

पार्थ न इदम् त्वया शक्यम् पुरम् जेतुम् कथंचन उपावर्तस्व कल्याण पर्याप्तम् इदम् अच्युत

Analysis

Word Lemma Parse
पार्थ पार्थ pos=n,g=m,c=8,n=s
pos=i
इदम् इदम् pos=n,g=n,c=1,n=s
त्वया त्वद् pos=n,g=,c=3,n=s
शक्यम् शक् pos=va,g=n,c=1,n=s,f=krtya
पुरम् पुर pos=n,g=n,c=1,n=s
जेतुम् जि pos=vi
कथंचन कथंचन pos=i
उपावर्तस्व उपावृत् pos=v,p=2,n=s,l=lot
कल्याण कल्याण pos=a,g=m,c=8,n=s
पर्याप्तम् पर्याप् pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part
इदम् इदम् pos=n,g=n,c=1,n=s
अच्युत अच्युत pos=a,g=m,c=8,n=s