महाभारतम् — 14.14.5
Original
Segmented
अर्चयामास देवान् च ब्राह्मणान् च युधिष्ठिरः कृत्वा अथ प्रेतकार्याणि बन्धूनाम् स पुनः नृपः अन्वशासत धर्म-आत्मा पृथिवीम् सागराम्बराम्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
अर्चयामास | अर्चय् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
देवान् | देव | pos=n,g=m,c=2,n=p |
च | च | pos=i |
ब्राह्मणान् | ब्राह्मण | pos=n,g=m,c=2,n=p |
च | च | pos=i |
युधिष्ठिरः | युधिष्ठिर | pos=n,g=m,c=1,n=s |
कृत्वा | कृ | pos=vi |
अथ | अथ | pos=i |
प्रेतकार्याणि | प्रेतकार्य | pos=n,g=n,c=2,n=p |
बन्धूनाम् | बन्धु | pos=n,g=m,c=6,n=p |
स | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
पुनः | पुनर् | pos=i |
नृपः | नृप | pos=n,g=m,c=1,n=s |
अन्वशासत | अनुशास् | pos=v,p=3,n=s,l=lan |
धर्म | धर्म | pos=n,comp=y |
आत्मा | आत्मन् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
पृथिवीम् | पृथिवी | pos=n,g=f,c=2,n=s |
सागराम्बराम् | सागराम्बरा | pos=n,g=f,c=2,n=s |