महाभारतम् — 13.29.15
Original
Segmented
तान् चेद् जयति शत्रून् स तदा प्राप्नोति सत्-गतिम् अथ ते वै जयन्ति एनम् ताल-अग्रात् इव पात्यते
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
तान् | तद् | pos=n,g=m,c=2,n=p |
चेद् | चेद् | pos=i |
जयति | जि | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
शत्रून् | शत्रु | pos=n,g=m,c=2,n=p |
स | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
तदा | तदा | pos=i |
प्राप्नोति | प्राप् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
सत् | सत् | pos=a,comp=y |
गतिम् | गति | pos=n,g=f,c=2,n=s |
अथ | अथ | pos=i |
ते | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=p |
वै | वै | pos=i |
जयन्ति | जि | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
एनम् | एनद् | pos=n,g=m,c=2,n=s |
ताल | ताल | pos=n,comp=y |
अग्रात् | अग्र | pos=n,g=n,c=5,n=s |
इव | इव | pos=i |
पात्यते | पातय् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |