महाभारतम् — 13.131.35
Original
Segmented
ददाति यजते यज्ञैः संस्कृतैः आप्त-दक्षिणैः अधीते स्वर्गम् अन्विच्छन् त्रेताग्नि-शरणः सदा
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
ददाति | दा | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
यजते | यज् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
यज्ञैः | यज्ञ | pos=n,g=m,c=3,n=p |
संस्कृतैः | संस्कृ | pos=va,g=m,c=3,n=p,f=part |
आप्त | आप्त | pos=a,comp=y |
दक्षिणैः | दक्षिणा | pos=n,g=m,c=3,n=p |
अधीते | अधी | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
स्वर्गम् | स्वर्ग | pos=n,g=m,c=2,n=s |
अन्विच्छन् | अन्विष् | pos=va,g=m,c=1,n=s,f=part |
त्रेताग्नि | त्रेताग्नि | pos=n,comp=y |
शरणः | शरण | pos=n,g=m,c=1,n=s |
सदा | सदा | pos=i |