महाभारतम् — 13.122.4
Original
Segmented
मैत्रेय उवाच निर्दोषम् निर्मलम् च एव वचनम् दान-संहितम् विद्या-तपोभ्याम् हि भवान् भावितात्मा न संशयः
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
मैत्रेय | मैत्रेय | pos=n,g=m,c=1,n=s |
उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
निर्दोषम् | निर्दोष | pos=a,g=n,c=1,n=s |
निर्मलम् | निर्मल | pos=a,g=n,c=1,n=s |
च | च | pos=i |
एव | एव | pos=i |
वचनम् | वचन | pos=n,g=n,c=1,n=s |
दान | दान | pos=n,comp=y |
संहितम् | संधा | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
विद्या | विद्या | pos=n,comp=y |
तपोभ्याम् | तपस् | pos=n,g=n,c=3,n=d |
हि | हि | pos=i |
भवान् | भवत् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
भावितात्मा | भावितात्मन् | pos=a,g=m,c=1,n=s |
न | न | pos=i |
संशयः | संशय | pos=n,g=m,c=1,n=s |