महाभारतम् — 13.109.12
Original
Segmented
वैश्य-शूद्रौ तु यौ मोहाद् उपवासम् प्रकुर्वते त्रि-रात्रम् द्विस् त्रि-रात्रम् वा तयोः पुष्टिः न विद्यते
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
वैश्य | वैश्य | pos=n,comp=y |
शूद्रौ | शूद्र | pos=n,g=m,c=1,n=d |
तु | तु | pos=i |
यौ | यद् | pos=n,g=m,c=1,n=d |
मोहाद् | मोह | pos=n,g=m,c=5,n=s |
उपवासम् | उपवास | pos=n,g=m,c=2,n=s |
प्रकुर्वते | प्रकृ | pos=v,p=3,n=p,l=lat |
त्रि | त्रि | pos=n,comp=y |
रात्रम् | रात्र | pos=n,g=m,c=2,n=s |
द्विस् | द्विस् | pos=i |
त्रि | त्रि | pos=n,comp=y |
रात्रम् | रात्र | pos=n,g=m,c=2,n=s |
वा | वा | pos=i |
तयोः | तद् | pos=n,g=m,c=6,n=d |
पुष्टिः | पुष्टि | pos=n,g=f,c=1,n=s |
न | न | pos=i |
विद्यते | विद् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |