महाभारतम् — 12.37.12
Original
Segmented
अप्रेक्षा-पूर्व-करणात् अशुभानाम् शुभम् फलम् ऊर्ध्वम् भवति संदेहाद् इह दृष्ट-अर्थम् एव वा अप्रेक्षा-पूर्व-करणात् प्रायश्चित्तम् विधीयते
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
अप्रेक्षा | अप्रेक्षा | pos=n,comp=y |
पूर्व | पूर्व | pos=n,comp=y |
करणात् | करण | pos=n,g=n,c=5,n=s |
अशुभानाम् | अशुभ | pos=a,g=n,c=6,n=p |
शुभम् | शुभ | pos=a,g=n,c=1,n=s |
फलम् | फल | pos=n,g=n,c=1,n=s |
ऊर्ध्वम् | ऊर्ध्वम् | pos=i |
भवति | भू | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
संदेहाद् | संदेह | pos=n,g=m,c=5,n=s |
इह | इह | pos=i |
दृष्ट | दृश् | pos=va,comp=y,f=part |
अर्थम् | अर्थ | pos=n,g=n,c=1,n=s |
एव | एव | pos=i |
वा | वा | pos=i |
अप्रेक्षा | अप्रेक्षा | pos=n,comp=y |
पूर्व | पूर्व | pos=n,comp=y |
करणात् | करण | pos=n,g=n,c=5,n=s |
प्रायश्चित्तम् | प्रायश्चित्त | pos=n,g=n,c=1,n=s |
विधीयते | विधा | pos=v,p=3,n=s,l=lat |