महाभारतम् — 12.30.4
Original
Segmented
वासुदेव उवाच अत्र ते कथयिष्यामि यथा वृत्तम् जनेश्वर नारदः पर्वतः च एव प्राग् ऋषी लोक-पूजितौ
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
वासुदेव | वासुदेव | pos=n,g=m,c=1,n=s |
उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
अत्र | अत्र | pos=i |
ते | त्वद् | pos=n,g=,c=4,n=s |
कथयिष्यामि | कथय् | pos=v,p=1,n=s,l=lrt |
यथा | यथा | pos=i |
वृत्तम् | वृत् | pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part |
जनेश्वर | जनेश्वर | pos=n,g=m,c=8,n=s |
नारदः | नारद | pos=n,g=m,c=1,n=s |
पर्वतः | पर्वत | pos=n,g=m,c=1,n=s |
च | च | pos=i |
एव | एव | pos=i |
प्राग् | प्राक् | pos=i |
ऋषी | ऋषि | pos=n,g=m,c=1,n=d |
लोक | लोक | pos=n,comp=y |
पूजितौ | पूजय् | pos=va,g=m,c=1,n=d,f=part |