Original

पुण्यपापक्षयार्थं च सांख्यं ज्ञानं विधीयते ।तत्क्षये ह्यस्य पश्यन्ति ब्रह्मभावे परां गतिम् ॥ ३८ ॥

Segmented

पुण्य-पाप-क्षय-अर्थम् च सांख्यम् ज्ञानम् विधीयते तद्-क्षये हि अस्य पश्यन्ति ब्रह्म-भावे पराम् गतिम्

Analysis

Word Lemma Parse
पुण्य पुण्य pos=n,comp=y
पाप पाप pos=n,comp=y
क्षय क्षय pos=n,comp=y
अर्थम् अर्थ pos=n,g=m,c=2,n=s
pos=i
सांख्यम् सांख्य pos=n,g=n,c=1,n=s
ज्ञानम् ज्ञान pos=n,g=n,c=1,n=s
विधीयते विधा pos=v,p=3,n=s,l=lat
तद् तद् pos=n,comp=y
क्षये क्षय pos=n,g=m,c=7,n=s
हि हि pos=i
अस्य इदम् pos=n,g=m,c=6,n=s
पश्यन्ति दृश् pos=v,p=3,n=p,l=lat
ब्रह्म ब्रह्मन् pos=n,comp=y
भावे भाव pos=n,g=m,c=7,n=s
पराम् पर pos=n,g=f,c=2,n=s
गतिम् गति pos=n,g=f,c=2,n=s