महाभारतम् — 12.115.20
Original
Segmented
विगर्हणाम् परम-दुरात्मना कृताम् सहेत यः संसदि दुर्जनान् नरः पठेद् इदम् च अपि निदर्शनम् सदा न वाच्-मयम् स लभति किंचिद् अप्रियम्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
विगर्हणाम् | विगर्हण | pos=n,g=f,c=2,n=s |
परम | परम | pos=a,comp=y |
दुरात्मना | दुरात्मन् | pos=a,g=m,c=3,n=s |
कृताम् | कृ | pos=va,g=f,c=2,n=s,f=part |
सहेत | सह् | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
यः | यद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
संसदि | संसद् | pos=n,g=f,c=7,n=s |
दुर्जनान् | दुर्जन | pos=n,g=m,c=2,n=p |
नरः | नर | pos=n,g=m,c=1,n=s |
पठेद् | पठ् | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
इदम् | इदम् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
च | च | pos=i |
अपि | अपि | pos=i |
निदर्शनम् | निदर्शन | pos=n,g=n,c=2,n=s |
सदा | सदा | pos=i |
न | न | pos=i |
वाच् | वाच् | pos=n,comp=y |
मयम् | मय | pos=a,g=n,c=2,n=s |
स | तद् | pos=n,g=m,c=1,n=s |
लभति | लभ् | pos=v,p=3,n=s,l=lat |
किंचिद् | कश्चित् | pos=n,g=n,c=2,n=s |
अप्रियम् | अप्रिय | pos=a,g=n,c=2,n=s |