महाभारतम् — 12.107.6
Original
Segmented
त्वादृशम् हि कुले जातम् अनृशंसम् बहु-श्रुतम् अमात्यम् को न कुर्वीत राज्य-प्रणय-कोविदम्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
त्वादृशम् | त्वादृश् | pos=a,g=m,c=2,n=s |
हि | हि | pos=i |
कुले | कुल | pos=n,g=n,c=7,n=s |
जातम् | जन् | pos=va,g=m,c=2,n=s,f=part |
अनृशंसम् | अनृशंस | pos=a,g=m,c=2,n=s |
बहु | बहु | pos=a,comp=y |
श्रुतम् | श्रुत | pos=n,g=n,c=2,n=s |
अमात्यम् | अमात्य | pos=n,g=m,c=2,n=s |
को | क | pos=n,g=m,c=1,n=s |
न | न | pos=i |
कुर्वीत | कृ | pos=v,p=3,n=s,l=vidhilin |
राज्य | राज्य | pos=n,comp=y |
प्रणय | प्रणय | pos=n,comp=y |
कोविदम् | कोविद | pos=a,g=m,c=2,n=s |