महाभारतम् — 1.52.2
Original
Segmented
सूत उवाच सहस्राणि बहूनि अस्मिन् प्रयुतानि अर्बुदानि च न शक्यम् परिसंख्यातुम् बहुत्वाद् वेद-वित्तम
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
सूत | सूत | pos=n,g=m,c=1,n=s |
उवाच | वच् | pos=v,p=3,n=s,l=lit |
सहस्राणि | सहस्र | pos=n,g=n,c=1,n=p |
बहूनि | बहु | pos=a,g=n,c=1,n=p |
अस्मिन् | इदम् | pos=n,g=m,c=7,n=s |
प्रयुतानि | प्रयुत | pos=n,g=n,c=1,n=p |
अर्बुदानि | अर्बुद | pos=n,g=n,c=1,n=p |
च | च | pos=i |
न | न | pos=i |
शक्यम् | शक्य | pos=a,g=n,c=1,n=s |
परिसंख्यातुम् | परिसंख्या | pos=vi |
बहुत्वाद् | बहुत्व | pos=n,g=n,c=5,n=s |
वेद | वेद | pos=n,comp=y |
वित्तम | वित्तम | pos=a,g=m,c=8,n=s |