महाभारतम् — 1.176.26
Original
Segmented
मञ्चेषु च परार्ध्येषु पौर-जानपदाः जनाः कृष्णा-दर्शन-तुष्टि-अर्थम् सर्वतः समुपाविशन्
Analysis
Word | Lemma | Parse |
---|---|---|
मञ्चेषु | मञ्च | pos=n,g=m,c=7,n=p |
च | च | pos=i |
परार्ध्येषु | परार्ध्य | pos=a,g=m,c=7,n=p |
पौर | पौर | pos=n,comp=y |
जानपदाः | जानपद | pos=n,g=m,c=1,n=p |
जनाः | जन | pos=n,g=m,c=1,n=p |
कृष्णा | कृष्णा | pos=n,comp=y |
दर्शन | दर्शन | pos=n,comp=y |
तुष्टि | तुष्टि | pos=n,comp=y |
अर्थम् | अर्थ | pos=n,g=m,c=2,n=s |
सर्वतः | सर्वतस् | pos=i |
समुपाविशन् | समुपविश् | pos=v,p=3,n=p,l=lan |