Original

प्रस्थानश्रमजनितां विहाय निद्राम् आमुक्ते गजपतिना सदानपङ्के ।शय्यान्ते कुलमलिनां क्षणं विलीनं संरम्भच्युतम् इव शृङ्खलं चकाशे ॥

Segmented

प्रस्थान-श्रम-जनिताम् विहाय निद्राम् आमुक्ते गज-पत्या स दान-पङ्के शय्या-अन्ते कुल-मलिनाम् क्षणम् विलीनम् संरम्भ-च्युतम् इव शृङ्खलम् चकाशे

Analysis

Word Lemma Parse
प्रस्थान प्रस्थान pos=n,comp=y
श्रम श्रम pos=n,comp=y
जनिताम् जनय् pos=va,g=f,c=2,n=s,f=part
विहाय विहा pos=vi
निद्राम् निद्रा pos=n,g=f,c=2,n=s
आमुक्ते आमुच् pos=va,g=m,c=7,n=s,f=part
गज गज pos=n,comp=y
पत्या पति pos=n,g=m,c=3,n=s
pos=i
दान दान pos=n,comp=y
पङ्के पङ्क pos=n,g=m,c=7,n=s
शय्या शय्या pos=n,comp=y
अन्ते अन्त pos=n,g=m,c=7,n=s
कुल कुल pos=n,comp=y
मलिनाम् मलिन pos=a,g=f,c=2,n=s
क्षणम् क्षण pos=n,g=m,c=2,n=s
विलीनम् विली pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part
संरम्भ संरम्भ pos=n,comp=y
च्युतम् च्यु pos=va,g=n,c=1,n=s,f=part
इव इव pos=i
शृङ्खलम् शृङ्खल pos=n,g=n,c=1,n=s
चकाशे काश् pos=v,p=3,n=s,l=lit